दुधारू पशुओं में मैस्टाइटिस रोग के प्रभावी नियंत्रण हेतु चलाया जाये सघन अभियान
लखनऊः मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह की अध्यक्षता में मैस्टाइटिस के नियंत्रण के संबंध में बैठक आयोजित की गई।
अपने संबोधन में मुख्य सचिव ने दुधारू पशुओं में मैस्टाइटिस रोग के प्रभावी नियंत्रण हेतु सघन अभियान चलाने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि व्यापक प्रचार-प्रसार की कार्ययोजना तैयार कर बीमारी से रोकथाम के लिए निर्धारित एसओपी की जानकारी पशुपालकों तक पहुँचाई जाये। पशु आहार के मानक निर्धारण व गुणवत्ता आदि के संबंध में पशुपालन विभाग द्वारा नीति निर्धारित की जाये।
उन्होंने पशुपालकों को जागरूक करने पर बल देते हुए कहा कि मैस्टाइटिस के लक्षण दिखने पर पशुपालकों द्वारा तत्काल पशु चिकित्सक से संपर्क किया जाए। साथ ही, संक्रमित पशु को अन्य पशुओं से अलग रखने की सलाह दी जाए, ताकि बीमारी का प्रसार रोका जा सके।
उन्होंने प्रदेश में 04 विश्वविद्यालयों को मेस्टाइटिस, बांझपन, नस्ल सुधार एवं अन्य संक्रामक बीमारियों एवं परजीवी नियंत्रण हेतु विशेष कार्यक्रम संचालित करने एवं पशुपालन विभाग से समन्वय करने हेतु आवश्यक कार्यवाही करने के भी निर्देश दिये।
इससे पूर्व, प्रमुख सचिव पशुधन के० रवींद्र नायक ने प्रदेश में मेस्टाइटिस रोग के संबंध में जानकारी दी कि विभाग द्वारा संचालित मोबाइल वेटनरी यूनिट्स एवं विभागीय पशु चिकित्सालयों द्वारा पशुपालकों को दी जाने वाली पशु चिकित्सकीय सुविधा के अनुसार मेस्टाइटिस रोग के केस लगभग 10 प्रतिशत हैं। विभाग द्वारा सबक्लिनिकल व क्लीनिकल मैस्टाइटिस रोग की जांच व निदान हेतु समय-समय पर सी०एम०टी० किट एवं अन्य आवश्यक औषधियों से उपचार किया जाता है।
बैठक में पशुपालन विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण, विषय विशेषज्ञ सहित वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जनपदों के मुख्य पशु चिकित्साधिकारी (सीवीओ) आदि उपस्थित थे।